Sunday, April 4, 2010

धमाके से बेपरवाह चिदंबरम पहुंचे लालगढ़


(sansadji.com)

किशनजी 'सकुशल' लापता हैं। अर्द्धसैन्य बल नक्सल विरोधी अभियान पर हैं। कल गृहमंत्री पी.चिदंबरम कोलकाता पहुंचे, मीटिंह ली। अगले दिन यानी आज उन्हें कहीं और जाना था, यक-ब-यक बिना पूर्वघोषणा या सुरक्षा व्यस्था के आज सुबह लालगढ़ पुलिस थाने पहुंच गए। संभावना जताई गई है कि ऐसा रणनीतिक इरादे से किया गया, चिदंबरम को इसी तरह लालगढ़ जाना था।
गृहमंत्री चिदंबरम ने आज सुबह लालगढ़ में सुरक्षा घेरे को तोड़ दिया। लालगढ़ में उनका थाने की ओर जाने का पहले से कोई तय अथवा घोषित कार्यक्रम नहीं था। उन्हें सीआरपीएफ कैंप का दौरा करना था। सुबह वह अचानक हेलीकॉप्टर से लालगढ़ उतर गए और सीआरपीएफ कैंप की ओर कूच करने की बजाय सुरक्षा घेरा तोड़ते हुए लालगढ़ पुलिस थाने पहुंच गए। वहां कुछ देर तक नक्सली हालात का पुलिस वालों से जायजा लेते रहे। इसके बाद एक और अघोषित कोशिश करते हुए दोबारा सुरक्षा घेरे से बाहर जाकर लालगढ़ के गांववालों से मेल-मुलाकात करने लगे। उल्लेखनीय है कि कल चिदंबरम के पश्चिमी मिदनापुर जिला स्थित नक्सल प्रभावित लालगढ़ इलाके के दौरे से पूर्व माओवादियों ने बारूदी सुरंग विस्फोट किया जिसमें सीआरपीएफ का एक जवान लहूलहान हो गया था। बमाल इलाके में सड़क के किनारे बारूदी सुरंग को लगाया गया था और जब सीआरपीएफ जवान उस पर से गुजरा तो उसमें विस्फोट हो गया। इसके साथ ही लालगढ़ में सुरक्षा और कड़ी करते हुए विशेष नक्सल विरोधी बल के साथ सीआरपीएफ के 1000 जवानों को सुरक्षा में तैनात कर दिया गया, क्योंकि अगले दिन (आज) चिदंबरम को इस इलाके में पहुंचना था। लालगढ़, बिनपुर, सालबोनी और ग्वालतोर में सीआरपीएफ और विशेष कार्रवाई बल के 20 मोबाइल कैंप काम और लालगढ़ में सीआरपीएफ की खुफिया यूनिट मुस्तैद रही। आज सुबह चिदंबरम का अचानक बिना किसी प्रोग्राम के सुरक्षा घेरा छोड़कर लालगढ़ थाने पहुंचना, फिर गांव वालों से मिलने पहुंच जाना मिनटों में पूरे देश में गूंज गया। कहा जा रहा है कि उन्होंने आज सुबह लालगढ़ मोरचे पर तैनात सुरक्षा बलों और पुलिस की हौसला आफजाई करने की गरज से केंद्र और राज्य की खास रणनीति के तहत ऐसा किया।

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